देश और दुनिया में अमन रहे, लोगों के बीच प्यार- मोहब्बत, भाईचारा, अपनाना हो,युद्ध न हो, दंगे न हो,किसी का घर न उजड़े।इंसानियत ऐसी मंजिल पर पर पहुँच सके, ऐसा हमारे बुद्ध, कबीर ,नानक,रहीम, से लेकर गाँधी का सपना था ये सभी इसी प्रयत्न में लगे रहे।आज इसकी और अधिक आवश्यकता है।इसीलिए देश के अनेक संगठनो ने कबीर के “ढाई आकर प्रेम”को माध्यम बनाकर भगतसिंह के जन्म दिवस 28 सितम्बर 2023 से राष्ट्रीय सांस्कृतिक यात्रा निकली है जो 22 राज्यों से होते हुए 07जनवरी 2024 को छत्तीसगढ़ पहुँची है। दुर्ग- भिलाई से यह यात्रा 10 जनवरी को राजनांदगांव पहुँची।राजनांदगांव में पुराना बस स्टेण्ड में गाँधी जी की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर नमन किया।यात्रा दल का स्थानीय लेखकों, कलाकारों के स्वागत के पश्चात प्रो थानसिंह वर्मा ने यात्रा के उद्देश्य पर संक्षेप प्रकाश डाला।इस अवसर पर यात्रा में शामिल मजदूर नेता कामरेड गजेन्द्र झा ने अपने संक्षिप्त उद्बोधन में कहा -बुद्ध से लेकर कबीर तक प्रेम और सद्भाव का जो ताना-बाना बुनाई गया था,वह खतरे में है ,आज समाज में घृणा तथा नफरत फैलाया जा रहा है । जिससे परस्पर प्रेम तथा विश्वास का संकट पैदा हो गया है।इसी प्रेम और विश्वास को बढ़ाने की आवश्यकता है ।हम इस यात्रा में सम्मिलित कलाकारों का स्वागत करते हैं।इससे पूर्व
यात्रा दल ने ग्राम ठेकवा में संगीत नाटक अकादमी सम्मान से सम्मानित स्व श्री खुमान साव तथा ग्राम रवेली में नाचा के पुरोधा स्व दाऊ मंदराजी को नमन किया,उनके परिजनों से भेंट मुलाकात की गमछा भेंट कर सम्मानित किया । यात्रा गाँधी प्रतिमा से होकर भर का पारा में डाॅ भीमराव आम्बेडकर, कामठी लाईन में नेता सुभाष चंद्र बोस को नमन कर सिनेमा लाइन, मानव मंदिर चौक होते हुए मुक्तिबोध स्मारक -त्रिवेणी परिसर पहुँचकर साहित्य मनीषी पदुम लाल पुन्नालाल बख्शी,गजानन माधव मुक्तिबोध एवं डाॅ बल्देव प्रसाद मिश्र की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर नमन किया।यहां प्रभात तिवारी, कहानीकार कुबेर सिंह साहू एवं संजय अग्रवाल ने यात्रा के महत्व पर प्रकाश डाला । मणिमय मुखर्जी,निसार अली एवं साथी न कलाकारों ने जनगीत प्रस्तुत किये।निसार अली एवं परघनिया ने’ चालक शिकारी’छत्तीसगढ़ी गम्मत प्रस्तुत किया । यात्रा के दौरान कामठी लाइन में सबेरा संकेत के संपादक एवं सुप्रसिद्ध लेखक स्व शरद कोठारी , भारत -माता चौक में स्वतंत्रता संग्राम सेनानी स्व श्री कन्हैयालाल अग्रवाल जी, स्टेशन पारा में तेभागा आंदोलन के नेता कामरेड प्रकाश राय और जन कवि डॉ नन्दूलाल चोटिया और तुलसीपुर में सुप्रसिद्ध कलाकार स्व दीपक विराट के निवास पर पहुँच कर उन्हें श्रद्धासुमन अर्पित किया तथा परिवार जनों को प्रेम के धागे के प्रतीक गमछा भेंट कर सम्मानित किया उनसे बातचीत की । दीपक विराट की पत्नी पूनम विराट नेअपने कलाकारों के साथ’ चोला माटी के हे राम’निर्गुण भजन गा कर सुनाया।इस तरह यह यात्रा प्रेम एवं सद्भाव के संदेश के समाप्त हुआ । इसके यात्रा में राष्ट्रीय इप्टा के महासचिव राजेश श्रीवास्तव, छत्तीसगढ़ इप्टा के अध्यक्ष मणिमय मुखर्जी,परगनिया, रायपुर इप्टा के निसार अली , डोगरगढ इप्टा के साथी राधेश्याम तराने एवं मनोज गुप्ता के साथ प्रगतिशील लेखक संघ राजनांदगांव के अध्यक्ष प्रभात तिवारी, सचिव पोषण वर्मा, साहित्यकार संजय अग्रवाल, कुबेर साहू, प्रो थानसिंह वर्मा, के के श्रीवास्तव, गिरीश ठक्कर , मुन्ना बाबू,हरेन्द्र कंवर, काॅ गजेन्द्र झा, शरद अग्रवाल, गोपीकृष्ण चोटिया, यश तारक मोहनलाल साहू, डी सी जैन,अमलेन्दु हाजरा सम्मिलित हुए । आभार प्रदर्शन पोषण वर्मा ने किया।